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नन्हीं गौरैया आई मोरे अँगना चीं-चीं करती। चुग्गा

नन्हीं गौरैया
आई मोरे अँगना
चीं-चीं करती।

चुग्गा चुगती
फुदकती गौरैया 
खूब सुहाती।

नन्हीं चिरैया 
मीठे कलरव से
रौनक लाती।

नीड़ बनाती
जिस घर गौरैया
स्मृद्धि है आती।

आईना देख
हैरान है चिड़िया
चोंच मारती।

रंग है भूरा
हमारी गौरैया का
खूब सुहाती।

गौरैया रानी 
उड़ने को आकाश 
पंख फैलाती।

टावर बने
चिड़िया के दुश्मन
मरती जाती।
***

©Manjeet Sharma 'Meera'
  गौरैया

गौरैया #कविता

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