किसे क्या कहु कौन कैसा है इस जमाने मे मै खुद मुझ जैसा ही न रहा रिश्ते निभाने मे कोशिश की के एक बड़ा इंसान बन जाऊ छोटा और भी हो गया मै दौलत कमाने मे हर कुछ मिल सकता है दौलत से, गलफहमी है ये देखना सब कुछ छूट जायेगा तुमसे दौलत कमाने मे मै दौलत कमाने चला था जिंदगी बनाने के लिए पर जिंदगी जिंदगी खत्म कर दी मैंने जिंदगी बनने मे ©Ved Kumar मै खुद जैसा है खुद न रहा दौलत कमाने मे!#jindagee #evening #Money #Life #shyari #Poetry