#DaughtersDay ये नन्ही परियाँ, इनसे हैं जीवन में खुशियां ही खुशियां ये खिलखिलाएं तो तपती धूप में ठंडी बयार चल जाए ये उदास हों तो खिली धूप में घुप्प अंधेरा सा हो जाए मेरी दुनिया की खुशियों के दरवाजे की चाबियां हैं शायद मेरी बेटियां, मेरी बाकी रह गई जो, वो उड़ान हैं शायद ©Harendra Mishra #Daughters