कल्पना प्रेमचंद ने चिमटे से बना दी बंदूक शिव बटालवी ने मिट्टी के बावा से लगाई ममता की हुक क्या नही हो सकता कल्पना से भूखा सैनिक बनाता शोरबा पत्थर से क्यों नही हम देते कल्पना को उड़ान बन जाते रुस्तम उड़ जाते बन सुरखाब #yqdidi #yqbaba #yqhindi #yqthoughts #kalpana #anujstories