सोचा लिख दूं कहानियों का किस्सा। अब जो नहीं रही यादों का हिस्सा। कोरे कागज पर न उतरी कलम की स्याह.... 👇 उससे पहले आंखों के आंसूओं ने भीगा दिया लिखने का हिस्सा...! सोचा लिख दूं कहानियों का किस्सा, अब जो नहीं रही #यादों का हिस्सा। कोरे #कागज पर न उतरी #कलम की स्याह.... 👇 उससे पहले #आंखों के #आंसूओं ने भीगा दिया लिखने का हिस्सा...!