अँधेरी रातों से कुछ वास्ता चाहती हूँ मैं ,मेरी फिर से वो बात करना चाहती हूँ कि लम्बे रास्तों का साथ हो तेरा मेरे लबों पे नाम हो बस तेरा कहती जाऊं अपने दिल के कई राज़ तुम्हें तुम सुनते जाओ तकती अँखियों से मुझे शांत सी राहें मुझे बस सुनती रहे ये हवा भी बस मेरे संग गुनगुनाती रहे गिरू अगर कहीं मैं जाऊं,तुम साथ रह थाम लेना मुझे मेरी बातों को थोड़ा नजरअंदाज कर देना थोड़ी सी पागल हूँ मैं ,कई लोग कहते हैं इसलिये तुम थोड़ा सा समझ लेना मुझे मेरे दिल की बातों को कहने देना मुझे इन अँखियों को थोड़ा रोने देना तुम मुझे फिर आँखों से मेरे आँसू पोंछ देना तुम मेरे जानती हूँ बड़ी जिद्दी हूँ मैं पर हर हरकत थोड़ी तुम सह लेना मेरी मेरी बातों को बस कहने देना मुझे मेरे लिये थोड़ा जी लेने देना nojoto app#love poetry#dream