संग संग चलना अधूरा रह गया जेलर: सुना है तुम शायर हो कुछ सुनाओ यार ! कैदी: गम ए उल्फत में जो जिंदगी काटी हमारी जिस दिन जमानत हुई उस दिन जिंदगी खत्म तुम्हारी !? irslan khan prajjval awadhiya