आज आवाजें कुछ यूँ अतीतों ने दी हैं, हमने खुद से ही आज मुलाकात की हैं । अपने गीतों से भी अब मोह है टूटा, हमने सपनों को गिरवी रख जीवन खरीदा ।। निराशाओं ने चारों ओर से है घेरा, फिर भी हैं बस उन कुछ यादों का पहरा । अंधेरा चारो ओर घना हैं, आस का प्रभाकर भी घटा में जा छिपा है।। अब उजाला दोबारा हो, तो हो कैसे । दोबारा दीया बन जलूं, तो जलूं कैसे ।। मेरे भाग्य की कलम, मेरी माँ को थमा दो । मेरे हाथ तो घायल हैं, मैं अपना भविष्य लिखूं, तो लिखूं कैसे ।। how...? 😇😇😇 Dono hath fracture h, bhot der lagi typ krne me. #thakur_ki_kalam_se #love_quotes #sad_quotes #broken @chhote_thakur