आखिर ये वक्त ठहर क्यो नही जाता तेरे आखों से यु आंसु हमसे देखा ना जाता माना तु जीता नही वो जो चाहा है हमने तुझसे तु रूआसा तो ना हो ये अंधकारमय अंधेरा हटेगा, फिर चमत्कारमय उजाला होगा तेरे उसी तलवार रुपी बल्ले से फिर प्रहार होगा तेरा इसी देशवासियों के सामने फिर सत्कार होगा तु जरा सा ठहर जा ये वक्त पहले भी तेरा था, आज भी तेरा होगा आखिर ये वक्त ठहर क्यो नहीं जाता!!! माही 💓💓 Mahendra Singh dhoni 💓