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मेरे माथे की धूल और पैरो के छाले बया कर रहे वो सब

मेरे माथे की धूल और  पैरो के छाले
बया कर रहे वो सब कुछ जो मुझे कहना था

उस घटाते व्हसंद की तरह मेरी ख्वाहिशे भी घटती चलगई
कदाचित मेरी जिंदगी मे आज अमावस की रात का जाना जरुरी था

©Arora PR जरुरी था
arorapr7519

Arora PR

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जरुरी था #कविता

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