खाक में मिल जाएंगे,ऐ ज़िन्दगी तेरे गुजर होने तक! एक नाम पढा है इश्क का,ढूंढेंगे इस दुनिया में क़बर होने तक!! एक जाम बना है पियेंगे,इस शाम के सहर होने तक! एक नज्म अभी अधूरी है, लिखेंगे उसके पूरे होने तक!! एक ख्वाब सजा है आँखों मे, चाहेंगे तुझे मेरे तग़ाफ़ुल होने तक! एक दीपक कई रंग में जलता है, बाद सब के सहर होने तक!! खाक में मिल जाएंगे,ऐ ज़िन्दगी तेरे गुजर होने तक! एक नाम पढ़ा है इश्क का,ढूंढेंगे इस दुनिया मे क़बर होने तक!! #jatt shravan yadav! तग़ाफ़ुल-neglect