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#5LinePoetry मैंने सारे खत जला दिए जो लिखे थे तेर

#5LinePoetry मैंने सारे खत जला दिए 
जो लिखे थे तेरी याद में
उन खतों में थे कुछ सपने 
जो थे तेरे मेरे अपने
अचानक ऐसा क्यूं हुआ ?
क्यूं मेरे मन से उठता है धुआं ?
ये जो उड़ते कागज़ के टुकड़े हैं
ये कुछ और नहीं 
मेरे मन के टुकड़े हैं
उन  टुकड़ों में कुछ किस्से हैं 
इन किस्सों में रातें हैं ,बातें है
 मुलाकातें है...
तुम थीं तो ख्वाब थे 
जो देखे हमने साथ थे 
बेहिसाब थे ..
 आहिस्ता आहिस्ता 
जो देखे ख्वाब थे  वो जल गए 
आंखों में उतरते ही पिघल गए 
मैं  रुका रहा अंतिम क्षण तक 
सब खाक ना हो गया तब तक
जो शेष है वो हैं अस्थियां 
जिन्हे मैंने अपने आंसुओ में 
विसर्जित कर दिया...

तुम्हारा _________________

©Ashutosh jain #kabitaye #प्रेम #खत #आंखें #आंसूओं #आग #मायूसी #अंत #खाक #प्यार
#5LinePoetry मैंने सारे खत जला दिए 
जो लिखे थे तेरी याद में
उन खतों में थे कुछ सपने 
जो थे तेरे मेरे अपने
अचानक ऐसा क्यूं हुआ ?
क्यूं मेरे मन से उठता है धुआं ?
ये जो उड़ते कागज़ के टुकड़े हैं
ये कुछ और नहीं 
मेरे मन के टुकड़े हैं
उन  टुकड़ों में कुछ किस्से हैं 
इन किस्सों में रातें हैं ,बातें है
 मुलाकातें है...
तुम थीं तो ख्वाब थे 
जो देखे हमने साथ थे 
बेहिसाब थे ..
 आहिस्ता आहिस्ता 
जो देखे ख्वाब थे  वो जल गए 
आंखों में उतरते ही पिघल गए 
मैं  रुका रहा अंतिम क्षण तक 
सब खाक ना हो गया तब तक
जो शेष है वो हैं अस्थियां 
जिन्हे मैंने अपने आंसुओ में 
विसर्जित कर दिया...

तुम्हारा _________________

©Ashutosh jain #kabitaye #प्रेम #खत #आंखें #आंसूओं #आग #मायूसी #अंत #खाक #प्यार