आंखो में काजल चेहरे पर तेज और सर पर हिजाब था मुझे लगा ऐसा जैसे वो कोई ख्वाब था कितनी नैमतो से सजाया होगा खुदा ने या फुरसत मै बनाया होगा खुदा ने मुस्कान ऐसी की पत्थर दिल भी पिघल जाए और बातो से उसकी बंद कली भी खिल जाए नैन उसके काली घटा से नजर आरहे थे जैसे वो बर्षा रूपी जल बरसा रहे थे बड़ा ही खास मंजर था दिल मै उतरा एक खंजर था की मै उससे प्यार कर लुगा सारी मै बात कर लुगा मगर वो हो नहीं पाया मगर वो हो नहीं पाया #nojotokavishala#hisab