कब निकलेगी धूप नेह की कब आंखों में सांझ करेंगे कब अपना भी एक घर होगा वक़्त के इस रंगीन शहर में कब चंदा की अगुआई में संग संग झिलमिल दीप धरेंगे कब बैठेंगे बात करेंगे चांद सितारे रात करेंगे कब सोएंगी जगती आंखें कब संजीवन उन्माद चखेंगे #toyou #tonight #yqcrossroads #yqlight #yqdepth #yqdarkness