में फिर मिलूंगी ........ कब , कहा, केसे पता नहीं....। जब तेरी पलकों को छूने का मन किया तो,, सूरज की पहेली किरण बनके आऊंगी। जब तेरी अखो से देखने का मन किया तो,, तेरा चश्मा बनके आऊंगी। जब तेरे होथो को छूने का मन किया तो....,, तेरी चाय की पहली बूंद बनके आऊंगी । जब तेरे दिल को छूने का मन किया तो,,,,, तेरी दिल की धड़कन बनके आऊंगी । जब तेरे हथो को छुने का मन किया तो,,,,,, तेरी वही कलम बनके आऊंगी । जब तेरे साथ चलने का मन किया तो,,,,,,,,, तेरी परछाई बनके चलूंगी । फिकर मत करना बुढ़ापे में भी तेरे साथ , ,,,,,,,, तेरी छडी बन के आऊंगी। ©Shah Yesha Bhavyesh corona की वाजाशे कहीं life partner ki death होगी हे ,,, लेकिन हिम्मत रखे ,,, वो आपके पास नहीं हे,, लेकिन आप के साथ जरुर है।। #lovetaj