#OpenPoetry अब अगर तूझसे दूर हो कर मर भी जाऊँ तो कोई गिला नही, तेरे साथ ज़िन्दगी जीने की ख़्वाहिश थी मेरी, मगर तू मिला नही। अब अगर तूझसे दूर हो कर मर भी जाऊँ तो कोई गिला नही, तेरे साथ ज़िन्दगी जीने की ख़्वाहिश थी मेरी, मगर तू मिला नही। . . . . . . .