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जब जब भी एहसास-ऐ-निरंकार होता है उस लम्हा कुल काय

जब जब भी एहसास-ऐ-निरंकार होता है 
उस लम्हा कुल कायनात से प्यार होता है 

बन्दगी , इबादत और भक्ति परवान होती है 
जब हर इंसान में मुर्शद का दीदार होता है 

इंसानियत निभाने से रूहानियत झलकती है 
खुदा के प्यारो में फिर उसका नाम शुमार होता है 

ना चाह कर भी ऐसे बन्दों का 
ज़ुबान-ऐ-ज़िक्र हर बार होता है

©Rahul Sethi #nirankari #HUmanity #Khuda #Love #Motivation #shayri #Poetry #Nojoto #viral 

#Nature
जब जब भी एहसास-ऐ-निरंकार होता है 
उस लम्हा कुल कायनात से प्यार होता है 

बन्दगी , इबादत और भक्ति परवान होती है 
जब हर इंसान में मुर्शद का दीदार होता है 

इंसानियत निभाने से रूहानियत झलकती है 
खुदा के प्यारो में फिर उसका नाम शुमार होता है 

ना चाह कर भी ऐसे बन्दों का 
ज़ुबान-ऐ-ज़िक्र हर बार होता है

©Rahul Sethi #nirankari #HUmanity #Khuda #Love #Motivation #shayri #Poetry #Nojoto #viral 

#Nature
rahulsethi5853

Rahul Sethi

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