कुरुक्षेत्र में हूँ,किंकृत्यविमूढ़, माधव ! लो मेरे,दृग निहार !! देखो मुड़कर,द्वारकाधीश, वृन्दावन रोता,अश्रु ढार !! ✍️✍️ रवि श्रीवास्तव ॐ श्री गुरुवे नमः ©Ravi Srivastava #leafbook