सुरत 'तेरी मासूम कली जैसी लब्ज तेरे बासुरी जैसे अदाह 'तेरी हिरणी जैसी अंदाज तेरे जलधारा जैसे... काव्यांकुर तो_ मयुर सं. लवटे माझ्या लेखणीतून...