:कोरोनाकाल में बेचारी हिन्दी :-:☺️ """ कोरोनकाल में हिन्दी का प्रयोग घटा है । ' दहशत ' की जगह ' पैनिक ' शब्द आ डटा है । वायरस देखकर - हिन्दी शब्दों की ख़पत घटी है। अब हमारी बातचीत में, विटामिन-सी, जिंक, स्टीम और इम्यूनिटी है। उधर ' सकारात्मक ' की जगह , ' पॉजिटिव ' शब्द ने हथियाई है । इधर ' नेगेटिव ' होने पर भी , खुशी है ,बधाई है । अब ज़िन्दगी में ' महत्वपूर्ण कार्य ' नहीं ' इम्पोर्टेन्ट टास्क ' हैं । हमारे नए आदर्श अब हैंडवाश , सेनिटाइजर और मास्क हैं । हिन्दी के अनेक शब्द सेल्फ क्वारेन्टीन हैं । कुछ आइसोलेशन में हैं , कुछ बेहद ग़मगीन हैं । मित्रों ,इस कोरोनकाल में , हमारे साथ , हिन्दी की शब्दावली भी डगमगाई है । *वो तो सिर्फ _" काढ़ा "_ है ,* *_जिसने हिन्दी की जान बचाई है।_"""* *⚡🤓🤓🏹*🙏🏻 ©OMG INDIA WORLD *⚡☺️:-:कोरोनाकाल में बेचारी हिन्दी :-:☺️🏹* 👍 """ कोरोनकाल में हिन्दी का प्रयोग घटा है । ' दहशत ' की जगह ' पैनिक ' शब्द आ डटा है । वायरस देखकर - हिन्दी शब्दों की ख़पत घटी है।