उनके वहाँ रहते हुए उसके जनने के दिन पूरे हुए,और वह अपना पहलौठा पुत्र जनी और उसे कपड़े में लपेटकर चरनी में रखा; क्योकि उनके लिए सराय में जगह न थी। ©Satish Sharma #christmasstory