मैं सोच कर नहीं दिल खोल कर लिखता हूं तुम्हें, क्या ये वही बात है, जिससे बहुत खटकता हूं मैं तुम्हें ....! ___अभिषेक सौरभ। jazbaati_baatein #mah_one_liners