तेरा साथ तू नहीं सही अब तेरी यादें तो हैं... तेरे से अब वो मुख्तसर सी मुलाक़ात नहीं, मगर मेरे गीतों मे तेरी बातें तो है.... मेरी परवाह तुझे नहीं पर मुझे तेरा साथ याद तो है... यूं घंटों बैठ कर एक दूसरे को सुनना... फिर महफ़िल जमाना, कुछ तुझसे सीखना कुछ मेरा गुनगुनाना तुझसे कुछ ना कहते हुए भी गीतों में तुझे बातें समझाना... तुझे शायद समझ ना आया मेरा मन ही मन गुमसुम बैठ जाना... मगर उस डगर में मुझे कुछ खूबसूरत पलों का एहसास तो है.... ____ दीप्ति #untold love