मैं और मेरे एहसास परिन्दे शाम तक घरों को लौट जाते हैं जैसे मुझे लगा था तुम भी वापस आ जाओगे वैसे हर सुबह तेरे आने की उम्मीद होना और शाम गुजरते ही टूट जाना हाँ! जिन्दगी गुजर रही उस इक शाम के इन्तजार में जैसे #mainaurmereahsas #love #loneliness