तुम खयाल ना करना मेरे हाल का, तुम खयाल ना करना मेरे हाल का, तोड़ा तुम्हने कई बार तो क्या तोड़ा तुम्हने कई बार तो क्या, खड़ी हूं, खुश हूं फिर भी , मेरे होसलो को इतना कम मत जान, आज बिखरी हूं, टूटी नहीं, माना रास्ते भले ही धुंधले है, पर मंज़िल बिल्कुल साफ है मेरे अंदर आज भी वही आग हैं, मेरे अंदर आज भी वही आग हैं, आज बिखरी हूं तो क्या , तुम खयाल ना करना मेरे हाल का, गिर कर, संभलना आता है मुझे, आज बिखरी हूं तो क्या, तुम खयाल ना करना मेरे हाल का तुम खयाल ना करना मेरे हाल का..... -by Mahima upadhyay #tu khayal Naa karna mere haal ka....