ख़त्म हुई कहनी 2016 की, लो 2017 भी अब पास है तारीख बदलने भर से क्या यह दिन इतना ख़ास है? ये बस मन में भरा उल्लास है, इसीलिए लगता इतना खास है। कौन कहता है भारत आजाद हो गया, ये अब भी पश्चिमी सभ्यता का दास है। - Aನೆekanत & A.AG. #Close #NewYear #HNY #YQBaba Anuup Kamal Agrawal