बहुत सोंचा कुछ अच्छा लिखूँगी। पढ़ने वालों से वाहवाही लुटूँगी। कुछ अच्छा जो मेरे लिए था,वह उनके लिए नही था। फिर कभी और अपनी कलम से पका परोसुँगी तब तक के लिए अलविदा।। आज कुछ गरम नही पक रहा,शायद शाम तक पक जाए😅।।