जब दर्द बाटने के लिए कोई हमदर्द नहीं होता तब बाते बेजान चिजो से होती है। बेदर्द ज़माना जब हमारे अश्कों को नहीं समझता तब ये पलको की बाते तकियो से होती है। जब हमारे ख़यालो को कोई नहीं सुनता तब ख़यालो कि बातें डायरी से होती है। जब कोई हमें नहीं समझता तब बातें संगीत से होती है। #diary #loneliness #pillowconfession #walltalks