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बिरह की वेदना तन को है जलाय, आने को कहकर गए तुम नह

बिरह की वेदना तन को है जलाय,
आने को कहकर गए तुम नही आए.!
बिरह बनी #वियोग अब मिलन की है चाह,
आ जाओ हरजाई बलम कटे नही रात.!
#अजय57
बिरह की वेदना तन को है जलाय,
आने को कहकर गए तुम नही आए.!
बिरह बनी #वियोग अब मिलन की है चाह,
आ जाओ हरजाई बलम कटे नही रात.!
#अजय57
ajaykeshari572073

Ajay Keshari

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