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धड़कन भी तु, सांसे भी तु, तू मर्कज़े हयात मिलना

धड़कन भी तु, सांसे भी तु, तू मर्कज़े हयात 
 मिलना तेरा  है राहते-जाँ बाइस-ए-नजात
 

जिसको लगे इसकी हवा वो काम से गया 
केहते हें जिसको इश्क़ मरज़ हे वो ला-इलाज 

मर्कज़ = centre 
नजात = forgiving

By Sahib Ahmedabadi #urdu 
#Love 
#sahibkisayri 
#clouds
धड़कन भी तु, सांसे भी तु, तू मर्कज़े हयात 
 मिलना तेरा  है राहते-जाँ बाइस-ए-नजात
 

जिसको लगे इसकी हवा वो काम से गया 
केहते हें जिसको इश्क़ मरज़ हे वो ला-इलाज 

मर्कज़ = centre 
नजात = forgiving

By Sahib Ahmedabadi #urdu 
#Love 
#sahibkisayri 
#clouds