एक रात हुई थी नशीली, जज़्बात बयान करते करते एक नज़्म हुई थी बेक़ाबू, उनकी ख़ूबसूरती को गाते गाते एक ग़ज़ल हुई थी कामिल, अपना हाल-ए-दिल सुनाते सुनाते एक शायर हुआ था 'पागल' अपने 'प्यार' को लिखते लिखते एक शायरा हुई थी 'बेसुध' 'उनकी' दीवानगी पढ़ते पढ़ते एक दिलजला रोया था बहुत, उनका इश्क़ देखते देखते #रात #जज़्बात #इश्क़ #दिलजला #yqdidi #yqbaba #latenightmusings