Nojoto: Largest Storytelling Platform

बनते बनते बिगड़ गई है ज़िंदगी मेरी कोई तो इसे सुध

 बनते बनते बिगड़ गई है ज़िंदगी मेरी
कोई तो इसे सुधार दो ना
अरे बनते बनते बिगड़ गई है जिंदगी मेरी
कोई तो इसे सुधार दो ना 
रुकी हुई सी इस कस्ती को मेरी कोई 
तो किनारे लगा दो ना
बिगड़ी हुई इस जिंदगी में मेरी कोई
तो सुधार ला दो ना
गिर जाता हूं आगे बढ़कर मैं बार बार
कोई तो हाथ थाम लो ना
बनाते बनते बिगड़ जाती है जिंदगी मेरी
कोई तो इससे खास बना दो ना
कोई तो इसे खास बना दो ना

©Mitali Singh
  बिगड़ी हुई ज़िंदगी
mitalisingh6370

Mitali Singh

New Creator

बिगड़ी हुई ज़िंदगी #Shayari

287 Views