"नर्गिस सी आँखों में जो ऩशा है, वो मयख़ानों में कहाँ घूँट-घूँट पि जाऊँ इसे, अब बस में मैं कहाँ" #"नर्गिस सी आँखों में जो ऩशा है, वो मयख़ानों में कहाँ घूँट-घूँट पि जाऊँ इसे, अब बस में मैं कहाँ"...©Reserved by #KISHAN KORRAM..