मिट्टी के थे इरादे, मिल ना सका किनारा, अब दोष किसको दोगे? पतवार में ना दम था, लहरों में ज़ोर कम था, क्या अपनी हार को तुम किस्मत के सिर मढ़ोगे? हम सफ़र पर निकले, काग़ज़ की कश्तियों में... #काग़ज़कीकश्ती #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi #अंजलिउवाच #इरादे #पतवार #मल्लाह