कुछ तो बात है मुझमें ऐ दोस्त कि मेरी ही बातें करते हैं वो हर रोज़, दूर कर के भी जेहन से अपने मुझे धड़काते हैं अपने दिल में वो हर रोज़, आँखों से ओझल कर के भी मुझे सपनों में फिर बसाते हैं वो हर रोज़, मेरी हर याद निकाल फेंकने का दावा कर के मुझे ही हर दफ़ा याद कर आँसू बहाते हैं वो हर रोज़, सौदेबाज़ी नहीं, रूह से रूह, दिल से दिल का था ये रिश़्ता तभी तो भीड़ में भी ख़ुद को तन्हा पाते हैं वो हर रोज़। #NaPoWriMo #apoemaday - वो हर रोज़ #YQdidi #कुछ_तो_बात_है_मुझमें