बहक न जाऊँ मुझको आप बचालो ना कंधा ढूँढ रहा हूँ गले लगालो ना बातचीत से तुम भी नागिन लगती हो नाग समझकर ही मुझको अपनालो ना --प्रशान्त मिश्रा नाग समझकर