यह रात वाह क्या रात है, कोई निराली बात है में यूँ अकेला हूँ मगर, धरा गगन के साथ है यह रात वाह क्या रात है, कोई निराली बात है में यूँ अकेला हूँ मगर, धरा गगन के साथ है चंदा अम्बर में हैं बैठे, अंखिया सितारे दुनिया देखे अहा श्वेत श्रृंगार कहो इतना प्यार, कितना प्यार