यूं ही नहीं होता, फर्श से अर्श तक का सफ़र। देना पड़ता हैं यहां, कई इम्तिहानों का सफ़र।। गर ख्वाहिश हैं तुम्हारी, ऊंची बुलंदी को छूना हैं। तब यूं हाथ पर हाथ धरे, तुमको ना बैठना हैं।। कर लो हर मैदान फतेह, जीत का हुंकार भरो। पहुंचाएं तुमको फर्श से अर्श, ऐसा आगाज़ करों। सुन सके तुम्हें जमाना, बुलंद अपनी आवाज़ करों। रण भेदी हैं तैयार यहां, बस तुम अपना आगाज़ करों।। #challengeno6. 👇 Collabwith #the_speed_of_motivation हार नही मानी फिर भी चलता रहा मैं इस सन्दर्भ में लिखिए अर्श से फर्श तक का सफर .......... 👉collab करने से पहले हमारे नियम और शर्तों को पिन पोस्ट 📌पर जरूर पढ़ें ! 👉8lines के साथ collab कीजिए जो भी लिखें motivation लिए हुए होना चाहिए !