Nojoto: Largest Storytelling Platform

मस्ज़िद में भले ही जगह न मिले, नमाज़ कही भी पढ़ लिया

मस्ज़िद में भले ही जगह न मिले,
नमाज़ कही भी पढ़ लिया जाएगा।
मुसल्ला भले ही न हो नसीब ,
लेकिन जन्नत में मखमल नजर आएगा।
जो आज़ बनाते हैं वजू पनियो से,
उन्हें हश्र के दिन अबेज़मज़म दिया जाएगा।।।
mohd. shahil दुनिया मे  सब कुछ तेरे पास होगा ,जब रब तेरे साथ होगा।
मस्ज़िद में भले ही जगह न मिले,
नमाज़ कही भी पढ़ लिया जाएगा।
मुसल्ला भले ही न हो नसीब ,
लेकिन जन्नत में मखमल नजर आएगा।
जो आज़ बनाते हैं वजू पनियो से,
उन्हें हश्र के दिन अबेज़मज़म दिया जाएगा।।।
mohd. shahil दुनिया मे  सब कुछ तेरे पास होगा ,जब रब तेरे साथ होगा।