घूरती निग़ाहों से वो कितना डरती है अकेली हो तो डग लंबे लंबे भरती है क्या बताऊँ यार! वो प्यारी सी लड़की कमउम्र में भी कितनी समझ रखती है लोगों की बदनीयती से बचने को यार! ना पूछो कि क्या क्या जतन करती है नुमाइशी के दौर में बदन पूरा ढकती है हया-दार ऐसी कि सर पर दुप्पटा रखती है Urdu_Word_Collab_Challenge_ Collab करें मेरे साथ 👉 Urdu_Hindi Poetry आज का लफ्ज़ है "हयादार" अब पहले की तरह एक विजेता नहीं बल्कि 3 विजेता चुना जाएगा,, जो सबसे पहला विजेता होगा उनको testimonial किया जाएगा ! और दूसरे और तीसरे नंबर वाले विजेता को 'हाइलाइट' किया जाएगा। Example: