Nojoto: Largest Storytelling Platform

इतिहास भाग 5 प्राचीन भारतीय इतिहास धर्मग्रंथ अथर्व

इतिहास
भाग 5
प्राचीन भारतीय इतिहास
धर्मग्रंथ
अथर्ववेद 
यह महर्षि अथर्वा द्वारा रचित वेद है, इस वेद में रोग, निवारण, तंत्र मंत्र, जादू टोना, शाप, वशीकरण, आशिर्वाद, स्तुति,प्रायश्चित, औषधि, अनुसंधान, विवाह, प्रेम, राजकर्म, मातृभूमि महात्मय आदि विविध विषयों से संबंधित मंत्र तथा सामान्य मनुष्यों के विचारों, विश्वासों,अंधविश्वासों आदि का वर्णन है|
अथर्व वेद कन्याओं
की वेद की निंदा करता है|
इसमें सभा और समिति को प्रजापति की दो पुत्रियां कहा गया है|
सबसे प्राचीन वेद ऋग्वेद तथा सबसे बाद का वेद अथर्ववेद है

©PRAVEEN YADAV 
  अथर्ववेद

अथर्ववेद #पौराणिककथा

762 Views