बांधे है तुमने पंख मेरे,परवाज़ रोक ना पाओगे। गूंगी बन मैं गा लुंगी,आवाज़ रोक ना पाओगे। तेरी खुशियों की खातिर,प्रेम पास में बंधी हूँ मैं। खुद का गर सोचा फिर,आज रोक ना पाओगे। मैं ईश्वर हूँ मैं अल्लाह हूँ,गुरुनानक माता मरियम हूँ। गीता,गुरूवाणी मैं गाती,नमाज़ रोक ना पाओगे।।