अपनी ही कहानी से ना हो जाये कही बेदखल इसलिए, हम कि अहल-ए-सुखन बस किरदार बदलते रहते है। #बेखुदअनुराग अपनी ही कहानी से #बेखुदअनुराग #बेदखल #कहानी #अहल-ए-सुख़न #किरदार