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,"भारत कोई भूमि का टुकड़ा नहीं हैं

,"भारत कोई भूमि का टुकड़ा नहीं हैं                                                                                     ये जीता जागता राष्ट्रीयपुरूष हैं                                                                                      यह वंदन की धरती है, यह अभिनंदन की धरती हैं                                                     यह अर्पण की भूमि हैं ,यह तर्पण की भूमि हैं                                                इसकी नदी नदी हमारे लिए गंगा है ,                                                                    इसका कंकड़ कंकड़ हमारे लिए शंकर है,                                                             हम जिएंगे तो इस भारत के लिए और                                                                    मरेंगे तो इस भारत के लिए                                                                                                 और मरने के बाद भी गंगा जल में                                                                            हमारी आस्तियों को बहते हुए                                                                                        कोई सुनेगा तो आवाज़ आएगी कि"                                                                     भारत माता की जय 🇮🇳                                                      प्रियंका सिंह

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