है मज़ा जिंदगी में तो खुद से जीना सीख ले... तोड़कर बेमन के बंधनों को खुद से उड़ना सीख ले... है बोझ तू , तो इसे हल्का कर खुद से अपनी गठरी अब ढोना सीख ले... है संसार ये लड़खड़ा गया है गर तू खुद से अब फिर खड़ा होना सीख ले... है मुसाफिर तो राह मिलेगी जरूर खुद में खुद को अब ढूँढ़ना सीख ले... #अनु #Hope #मज़ा #जिंदगी #गठरी