अपने मृतप्राय ज़मीर को, लहरों से ओझल होती रेत की लकीर को। पतझड़ की गर्मी संग लाते समीर को, पैरों में पड़े अमानुष के ज़ंज़ीर को।। दिल चाहता है, कह दूं, हॉर्न ओके प्लीज।। द्रवित मन देख जूठन समेटते फकीर को, हड्डियों का ढांचा बने शरीर को। मौन बैठे हर एक स्तब्ध निःशब्द कबीर को, बेवजह की हर एक तकरीर को।। दिल चाहता है कह दूं, हॉर्न ओके प्लीज।। कुछ तो बोल लूं, कुछ तो शब्दों का शोर हो, किसी के हाथों से लिखी तदबीर को। मौन, निःस्वास, शिथिल, मन्द आचरणों से खुद के हाथों से बनते बिगड़ते तस्वीर को।। दिल चाहता है कह दूं, हॉर्न ओके प्लीज।। रजनीश "स्वच्छंद" हॉर्न ओके प्लीज।।।।#thought #shayri #fun #love #poem #comedy #meme #nojoto #nojotohumour #nojotomeme #nojotofun #kalakaksh #znmd #TST #Nojoto #Nojotohindi #kavishala #love #quotes #Poetry #sad #motivation #life #kalakaksh