हवाओं के रुख में मैं बह चला, चंद दिए क्या बुझे, आंधियाँ बेक़सूर हो गई और मै कातिल हो गया, किसको हर्ज था नदियों से जब नदियाँ मिल जाती थी समंदर में, हंगामा तो तब हुआ,जब एक दिन समंदर नदियों मे शामिल हो गया ।। #shortpoem #hindi #rivers #sea #wind #yqbaba #yqdidi