एक लेखक लेखक मृदुल भाषी है, तो नीम सा कड़वा भी है, मृदुल है क्योंकि लेखक बात नहीं जज़्बात लिखता है, नीम सा कड़वा है क्योंकि साहब दवा कड़वी ही होती है। एक लेखक लेखक मृदुल भाषी है, तो नीम सा कड़वा भी है, मृदुल है क्योंकि लेखक बात नहीं जज़्बात लिखता है,