ईक्श के महफिल में हमके बेवफा बतावल गईल बा, दाग गहरा रहे एही से हर राज छुपावल गईल बा, देखनी जमाना में हमहुँ कईगो चेहरा उनकर, हमसे स्नेह तोड़ के केहू और से दिल लगावल गईल बा। हर राज छुपावल गईल बा।