अर्धांगिनी आभा स्वरूप प्रभा की ऊर्जा सम नव रश्मि की एकाकी डगर का पथ सहगमिनी निस्वार्थ निश्छल मनोबंधन की चांदनी विविध जीवन रंग छलकाती घन तिमिर में प्रज्वलित ज्योति लहलहाती करुणा की सी नदी आजीवन सम समधुर रस बंधन पूर्ण समर्पण प्रति सहचर निकेतन सदन सखा की अर्धशक्ति कहलाती है ये अर्द्धांगिनी बनती प्रेरणा स्वरूप नित पल उन्नति और समृद्धि का आधार #अर्धांगिनी